पटना. पूरे देश में कोरोना के संक्रमण के चेन को तोड़ने के लिए लॉकडाउन किया गया है, इस लॉक डाउन के वजह से हजारो गरीब मजदूर दूसरे राज्यों में फंसे है। उनके पास काम नहीं है, पैसे खत्म हो गए, कितनो को भूखे पेट तक सोना पड़ रहा है, ऐसे लोग सरकार से लगातार घर बुलाने की अपील कर रहे है। वही बिहार के नवादा जिले के हिसुआ से बीजेपी विधायक अनिल सिंह के कोटा जाकर अपनी बेटी को लाने का मामला तूल पकड़ता जा है, हर तरफ से सरकार पर सवालों की बौछार हो रही है, क्या मीडिया क्या विपक्ष हर तरफ से सराकर को घेरा जा रहा है, वही सरकार ने दिखावा करते हुए अब तक चार कर्मियों पर गाज गिरा चुकी है, लेकिन अब यह सवाल उठना लाजमी है की ये मामला जिसके वजह से हुआ यानि विधायक एवं डीएम पर कब कार्रवाई होगी?
बता दे, अबतक नवादा के एसडीओ, विधानसभा सचिवालय के ड्राइवर के साथ-साथ गुरुवार को विधायक के दो बॉडीगार्ड भी सस्पेंड कर दिया गया हैं।
राबड़ी देवी का ट्वीट
वही इसको लेकर बिहार की पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी ने भोजपुरी में ट्वीट कर कहा है- ” का नितीश जी, इ कहां के इंसाफ बा, छलनी के दोष सूपा के दियाई, गजबे राज चलता, एमएलए गईलन आपन लईका के लियाए कोटा, पास देहलन कलक्टर के आदेश पर SDO, आ जब पोल खुलल त गाज़ गिरल ड्राइवर पर”, राबड़ी देवी ने यह भी कहा- इ खेला सभे बुझाता। बा करेज़ा MLA और कलक्टर के सजा देवेला। सब चलती कमज़ोर ए लोगन पर चली?
एक बेटी के लाने में चार लोग सस्पेंड हो गए
एक बेटी को कोटा से लाने में अभी तक चार लोग सस्पेंड हो गए, लेकिन विधायक अनिल सिंह एवं डीएम पर अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई। हिसुआ के बीजेपी विधायक अनिल सिंह अभी भी अपने सभी पद पर बने हुए हैं, जानकारी के अनुसार नवादा के डीएम ने एसडीओ को मौखिक आदेश दिया था कि वो विधायक को कोटा जाने के लिए पास निर्गत करें, लेकिन डीएम को कुछ नहीं हुआ। बिहार प्रशासनिक सेवा संघ ने डीएम पर भी कार्रवाई की मांग की है।
अब यह सवाल उठ रहा है कि सभी छोटे कर्मचारियों पर तो गाज गिर गई, लेकिन जिनके आदेश पर ये सब हुआ उनको कुछ नहीं हुआ, कलेक्टर के कहने पर एसडीओ को पास कैसे नहीं देते और अगर विधायक कह रहे हैं, तो चालक कैसे मना कर सकता है, बॉडीगार्ड कैसे मना कर सकता है?